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खून में जैसे यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ने से कई तरह की समस्याएं हो सकती हैं। वैसे ही शुगर, कोलेस्ट्रॉल और ब्लड में यूरिया बनने से भी कई गंभीर बीमारियों का खतरा बढ़ने लगता है। बता दें कि जब लिवर खाने में प्रोटीन को तोड़ता है, तो ब्लड यूरिया नाइट्रोजन बनता है। ऐसे में अगर किडनी हेल्दी होती है, तो ये यूरिन के जरिए बाहर निकल जाता है। किडनी के खराब होने पर ये खून में मिलने लगता है, लेकिन ब्लड यूरिया कम करने के घरेलू उपाय आजमाकर इस समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है।
खून में यूरिया का लेवल बढ़ने से शरीर में कई तरह की परेशानियां बढ़ने लगती हैं। इससे डिहाइड्रेशन, यूरिन में दिक्कत, हार्ट अटैक का खतरा बढ़ सकता है। यहां तक कि यूरिया के ब्लड में बढ़ने से किडनी भी डैमेज हो सकती है। वैसे तो ब्लड यूरिया कम करने के उपाय से इस समस्या पर काबू पाया जा सकता है, लेकिन अगर इसके लक्षणों का पहले से ही पता हो, तो इस बीमारी को बढ़ने से रोका जा सकता है। आइए, इसके लक्षण जान लेते हैं:
ब्लड यूरिया को कम करने के उपाय आजमाकर इस समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है, लेकिन इसके कारणों का पता होना जरूरी है। वैसे तो ब्लड यूरिया बढ़ने का कारण क्रोनिक किडनी रोग माना जाता है, लेकिन इसके कई और कारण भी हो सकते हैं। आइए, जानते हैं ब्लड यूरिया बढ़ने के मुख्य कारण क्या हैं:
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ब्लड यूरिया कम करने के घरेलू उपाय की मदद से आपको इस समस्या से निजात मिल सकता है। आइए उन घरेलू उपायों के बारे में जान लेते हैं।
गोक्षुरा को मूत्रवर्धक जड़ी-बूटी माना जाता है। इसमें किडनी की कोशिकाओं को शक्ति देने वाले गुण होते हैं। गोक्षुरा को गोखरू के नाम से भी जाना जाता है। इसे आयुर्वेद में हर्बल टॉनिक के रूप में इस्तेमाल किया जाता है। गोक्षुरा को ब्लड यूरिया कम करने के घरेलू उपाय के रूप में जाना जाता है।
वरुण एक बेहतरीन आयुर्वेदिक जड़ी-बूटी है। इसका उपयोग किडनी के एरिया में मौजूद पथरी को तोड़ने के लिए किया जा सकता है। इसका इस्तेमाल यूरिनरी ट्रैक्ट के इंफेक्शन को ठीक करने के लिए भी किया जाता है। वरुण जड़ी-बूटी यूरिनरी ट्रैक्ट को बाधित करने का काम कर सकती है। इतना ही नहीं ये किडनी में मौजूद अतिरिक्त तरल पदार्थ को बाहर निकालकर सूजन को दूर करने का काम करती है।
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पुनर्नवा भी ब्लड यूरिया घटाने के उपाय के नाम से जाना जाती है। वहीं पुनर्नवा भी एक बेहतरीन आयुर्वेदिक जड़ी-बूटी मानी जाती है। ये दो शब्दों से मिलकर बनी है। एक पुना और एक नवा। इस जड़ी-बूटी को इस्तेमाल करने से सूजन कम होती है और किडनी से अतिरिक्त तरल पदार्थ बाहर निकाले जा सकते हैं, जिससे ब्लड यूरिया का लेवल कम होने लगता है।
पानी ज्यादा पीने से किडनी में जमा हो रहे यूरिक एसिड को तेजी से बाहर निकालने में मदद मिल सकती है। इसके लिए आप अपने साथ पानी जरूर रखें। इसे थोड़े-थोड़े वक्त के बाद पीते रहने से ब्लड में जमा हो रहे यूरिया का लेवल कम हो सकता है।
आयुर्वेद में डायबिटीज, किडनी फेलियर, दिल से जुड़े रोगों को ठीक करने की ताकत होती है। आयुर्वेद 100% प्राकृतिक तत्वों के साथ समस्या में आराम देने में मदद कर सकता है। ब्लड यूरिया के लेवल को घटाने के लिए आप पुनर्नवा मंडूर, वरुणादि वटी, मुत्रिक्रींतक चूर्ण आदि हर्बल दवाओं का उपयोग कर सकते हैं। हर्बल दवाओं को ब्लड यूरिया कम करने के घरेलू उपाय के रूप में जाना जा सकता है।
तो जैसा कि आपने जाना कि ब्लड यूरिया कम करने के घरेलू उपाय क्या हैं? ऐसे में इन उपायों को अपनाने से पहले आप एक बार अपने डॉक्टर से सलाह जरूर कर लें।
अगर आपको भी ब्लड यूरिया या उससे जुड़ी किसी भी तरह की समस्या है, तो आप अपना इलाज कर्मा आयुर्वेदा में आकर करवा सकते हैं। यहां पर सन् 1937 से किडनी रोगियों का इलाज किया जा रहा है और हाल ही में इसे डॉ. पुनीत धवन संभाल रहे हैं। डॉ. पुनीत न सिर्फ भारत में, बल्कि पूरी दुनिया में किडनी की बीमारी से जूझ रहे रोगियों का इलाज कर रहे हैं, क्योंकि आयुर्वेद में प्राकृतिक जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल किया जाता है। कर्मा आयुर्वेदा डायलिसिस या किडनी ट्रांसप्लांट के बिना ही भारतीय आयुर्वेद के सहारे किडनी फेल्योर का इलाज कर रहा है।
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FEB 23,2022 - FEB 22,2025