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क्रिएटिनिन बढ़ने पर क्या नहीं खाना चाहिए?

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क्रिएटिनिन बढ़ने पर क्या नहीं खाना चाहिए?

क्रिएटिनिन बढ़ने पर क्या नहीं खाना चाहिए

क्रिएटिनिन एक अपशिष्ट पदार्थ होता है, जो शरीर में मांसपेशियों की सामान्य गतिविधियों के दौरान बनता है, एक स्वस्थ किडनी इस अपशिष्ट पदार्थ को फिल्टर करके पेशाब के रास्ते बाहर निकाल देती हैं, लेकिन अगर किडनी की कार्यक्षमता कम हो तो ब्लड में क्रिएटिनिन का स्तर बढ़ने लगता है। यह स्थिति स्वास्थ्य के लिए गंभीर संकेत हो सकती है और इसके लिए खास ख्याल रखने की जरूरत होती है, खास रूप से डाइट यानी खानपान पर की इस दौरान क्या खाना है और क्या नहीं, आज इस आर्टिकल में हम क्रिएटिनिन बढ़ने पर क्या नहीं खाना चाहिए इस विषय में बताएंगे साथ ही इसके लक्षणों और कारणों पर भी ध्यान देंगे जिससे किडनी पर अतिरिक्त दबाव न पड़े और क्रिएटिनिन का स्तर नियंत्रित रहे।
 

क्रिएटिनिन बढ़ने के लक्षण 

  • कमजोरी और थकान

  • सूजन

  • पेशाब में बदलाव

  • भूख न लगना

  • उल्टी या मिचली

  • त्वचा पर रूखापन या खुजली

  • मांसपेशियों में ऐंठन

  • ध्यान केंद्रित करने में कठिनाई

  • साँस लेने में कठिनाई

  • सोते समय कठिनाई

क्रिएटिनिन बढ़ने के कारण 

क्रिएटिनिन बढ़ने पर क्या नहीं खाना चाहिए

 

  1. प्रोटीन युक्त आहार -  बहुत से लोग प्रोटीन का नाम सुन कर संकोच कर सकते हैं पर सबका ये समझना बहुत जरूरी है की प्रोटीन की मात्रा भी निश्चित ही होनी चाहिए, क्योंकि प्रोटीन पचाने से जो वेस्ट प्रोडक्ट बनते हैं उसे कमजोर किडनी फिल्टर नहीं कर पाती है, इसलिए आप जितना प्रोटीन खाओगे उतना ज्यादा क्रिएटिनिन बनेगा और उतना ही ज़्यादा किडनी पर दबाव पड़ेगा और अगर किडनी पहले से ही क्रिएटिनिन को बाहर नहीं निकाल पा रही है, और ऊपर से आप प्रोटीन की अधिक मात्रा ले रहे हैं, तो स्थिति और खराब हो सकती है।  

    प्रोटीन
     
  2. उच्च पोटैशियम वाले फल और सब्जियां कम खाएं - प्रोटीन की तरह पोटैशियम भी शरीर के लिए जरूरी होता है, पर किडनी की समस्या में इसका ध्यान रखना भी बहुत जरूरी है, क्योंकि जब किडनी कमजोर हो जाती है तो वह पोटैशियम को फिल्टर नहीं कर पाती। जिस वजह से रक्त में इसका स्तर सामान्य से ज्यादा हो जाता है और पोटैशियम शरीर में जमा होने लगता है और फिर ये दिल और मांसपेशियों के लिए जानलेवा हो सकता है। अगर हम बात करें पोटैशियम वाले फल और सब्जियों की तो इसके कुछ उदाहरण ये है, पोटैशियम युक्त फल -  केला, आम, संतरा, अनार, कीवी, खरबूजा पोटैशियम युक्त सब्जियां  - पालक, टमाटर, आलू, शकरकंद, कटहल, बीन्स
     
  3. दालें और फलियां अधिक न खाएं - दालें और फलियां दोनों ही भारतीय आहार का एक अहम हिस्सा है, इसलिए इसे कंट्रोल करना थोड़ा मुश्किल हो सकता है पर अगर क्रिएटिनिन बढ़ने की स्थिति में इसे कंट्रोल कर लिया जाए तो ये आपकी सेहत के लिए बहुत फायदेमंद हो सकता है। अगर हम देखें तो दालें और फलियां शाकाहारी प्रोटीन का बड़ा स्रोत हैं। इसलिए जब किडनी कमजोर होती है, तो ज्यादा प्रोटीन लेने से शरीर में अधिक क्रिएटिनिन बनता है, जिसे किडनी बाहर नहीं निकाल पाती। इससे रक्त में क्रिएटिनिन का स्तर और बढ़ जाता है, जो किडनी पर और दबाव डालता है।
    दालें

     
  1. एनर्जी ड्रिंक्स और कोल्ड ड्रिंक्स से बचें - क्रिएटिनिन का स्तर बढ़ने पर एनर्जी ड्रिंक्स और कोल्ड ड्रिंक्स इसलिए मना कर देते हैं क्योंकि इसमें कई ऐसे तत्व होते हैं जो किडनी के लिए हानिकारक होते हैं खासकर जब किडनी पहले से ही कमजोर हो, क्योंकि एनर्जी ड्रिंक्स में कैफीन बहुत ज्यादा होता है, और यही कैफीन डिहाइड्रेशन करता है यानि शरीर में पानी की कमी लाता है जिससे किडनी का काम और मुश्किल हो जाता है और ये स्थिति क्रिएटिनिन के स्तर को और बढ़ा सकती है। इसलिए अगर आप चाहें तो आप  कोल्ड ड्रिंक्स की जगह नारियल पानी (सिर्फ तभी जब पोटैशियम ज्यादा न हो), नींबू पानी (बिना नमक और चीनी), घर का बना बेल का शर्बत, जीरे या धनिये का पानी। ये स्वाद में भले ही आपको शांति ना दें पर ये आपकी सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होंगे।
     
  2. प्रोसेस्ड शुगर और मीठा - अगर हम बात करें प्रोसेस्ड शुगर और मीठे की तो इसका हम लगभग अपने दिन भर में कभी न कभी सेवन जरूर करते हैं, पर ये सभी चीजें कैलोरी तो देती हैं पर पोषण नहीं देतीं, लगातार मीठा खाने से ब्लड शुगर बढ़ता है इससे इंसुलिन रेसिस्टेंस और आखिरकार टाइप-2 डायबिटीज हो सकती है। यही डायबिटीज खुद क्रॉनिक किडनी डिजीज (CKD) का सबसे बड़ा कारण है यानी मीठा किडनी खराब होने की जड़ में होता है।
     

आज के इस आर्टिकल में हमने क्रिएटिनिन बढ़ने पर क्या नहीं खाना चाहिए, इसके बारे में, बात करी और आपने जाना की कैसे कुछ घरेलू और आयुर्वेदिक उपचार इस समस्या में आपके काम आ सकते हैं, लेकिन आप सिर्फ इन सुझावों पर निर्भर ना रहें समस्या अगर ज्यादा गंभीर है तो डॉक्टर से संपर्क ज़रूर करें या कर्मा आयुर्वेद अस्पताल में भारत के बेस्ट आयुर्वेदिक डॉक्टर से सलाह ले सकते हैं। हेल्थ से जुड़े ऐसे और भी ब्लॉग्स और आर्टिकल्स के लिए जुड़े रहें अयुकर्मा के साथ।



 

FAQs

  • अगर मेरा क्रिएटिनिन ज्यादा है तो मुझे क्या खाना चाहिए?

अगर आपका क्रिएटिनिन ज्यादा हो गया है तो आप कम प्रोटीन, कम पोटैशियम, कम फॉस्फोरस और कम सोडियम वाला खाना खाएं

  • कौन सी सब्जियां क्रिएटिनिन लेवल कम करती हैं?

कोई भी सब्ज़ी सीधे तौर पर क्रिएटिनिन को "कम" नहीं करती, लेकिन कुछ सब्ज़ियाँ ऐसी होती हैं जो किडनी पर ज़्यादा बोझ नहीं डालतीं, बल्कि शरीर से टॉक्सिन बाहर निकालने में मदद करती हैं जैसे टिंडा, तौरी, लौकी, प्याज और कद्दू

  • कौन सी दाल क्रिएटिनिन बढ़ाती है?

चना दाल, राजमा, उड़द दाल, सोयाबीन, मसूर दाल और लोबिया जैसी दालें  क्रिएटिनिन बढ़ाती है

 

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